मेरे यह हाइकु 'हिंदी हाइकु वेब पत्रिका ' पर 4 दिसम्बर 2012 को प्रकाशित हुए हैं ।
1.
छोड़ा तुमने ,
गम ही गम दिया
दिल बिखरा
2.
जीवन -नदी
डूब प्यार भँवर
मिला किनारा
3.
पत्थर दिल
भावनाओं से मुक्त
पिघले नहीं
4.
खुले हैं जख़्म
बिन दर्द टूटता
काँच -सा दिल
वरिन्दरजीत सिंह बराड़
(नोट : ये पोस्ट अब तक 155 बार खोलकर पढ़ी गई)
ਦਿਲੀ ਭਾਵਨਾਵਾਂ ਨਾਲ਼ ਓਤ-ਪ੍ਰੋਤ ਹਾਇਕੁ !
ReplyDeletei am very thank full to all of you
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